लखीमपुर-खीरी। देश विदेश में अपनी अलग पहचान रखने वाले दुधवा नेशनल पार्क के
दरवाजे आगामी 15 नवंबर से पर्यटकों के लिए खोल दिए जायेंगे जो 15 जून तक खुले रहेंगे।
इस दौरान पर्यटक टाइगर, राइनो, चीतल पाढ़ा, बारहसिंघा, हिरन, सांभर, कंकड़ा सहित
पार्क की शोभा बढ़ा रहे प्राकृतिक सौंदर्य रूपी दुर्लभ प्रकार के वन्यजीवों के साथ-साथ
साइबेरियन पक्षियों का दीदार कर सकेंगे। हर वर्ष की तरह इस वर्ष भी देश.विदेश से आने
वाले पर्यटकों के स्वागत के लिए वन विभाग ने तैयारियाँ पूरी कर ली है।
नेपाल के सीमाई क्षेत्र पर स्थित 885 वर्ग किलोमीटर के दायरे का जंगल जो दुधवा
नेशनल पार्क के नाम से जाना जाता है। पर्यटकों के लिए 15 नवंबर से इसके दरवाजे खोल
दिए जाएंगे। इस बार यहां आने वाले लोगों को राइनो की साइनिंग कराई जायेगी। हाथी की
सवारी के साथ-साथ पार्क की सफारी जीपों से पर्यटक पार्क का भृमण करेंगे। वही लोगों
को इस सफारी के दौरान टाइगर, गुलदार, बारहसिंघा, चीतल, सांभर, केकड़ा, गोन, भालू और
बंदरों के अलावा दुर्लभ प्रजाति के वन्य जीवजंतुओं के साथ-साथ साइबेरिया पक्षियों के
भी दीदार होंगेे।
दुधवा उपनिदेशक महावीर कौजलगि ने बताया कि ठण्ड की शुरुआत होते ही साइबेरियन
पक्षी पार्क के विशाल तालाबों तथा नदियों में हजारों किलोमीटर दूर से आ कर पार्क की
शोभा बढ़ाते हैं। पर्यटक इन्हें देख मंत्रमुग्ध हुए बगैर नही रह सकते। वन्य जीवों तथा
साइबेरिया पक्षियों की किलकारियां पार्क में पर्यटकों को स्वर्ग का एहसास कराती है
जिनको देखने का एक अलग ही अनुभव होगा।
लखनऊ से दुधवा का रुट
लखनऊ से लगभग 200 किलोमीटर की दूरी पर दुधवा नेशनल पार्क स्थित है। लखनऊ से
सीतापुर व सीतापुर से लखीमपुर होकर पलिया से कुछ ही दूरी पर दुधवा पार्क है। इसी तरह
बरेली से पीलीभीत व खुटार मैलानी होते हुए पलिया आने का भी रास्ता है। दुधवा में रुकने
का बेहद खूबसूरत इंतजाम वन विभाग की तरफ से किया गया है। सरकारी काटेज भी इसलिए अच्छा
विकल्प है।
सैलानियो को लुभाते हैं ये वन्य जीव
दुधवा में आने वाले सैलानियों को हिरन की पांच तरह की प्रजातियां विचरण करते
हुए दिख जाएंगे। यह हिरन देश के किसी भी राष्ट्रिय उद्यान में नहीं पाए जाते हैं। एक
सींग वाला गैंडा तो दुधवा की पहचान है। बंगाल टागर भी यहां की शान बढ़ाता है। इन सभी
के बीच 450 प्रजातियों के पक्षी है। पार्क में लगभग 34 से भी ज्यादा दुर्लभ गैंडे हैं
जो दर्शकों को खूब लुभाते हैं। इन विशालकाय गैंडों को उन्मुक्त विचरण करते देख पर्यटक
रोमांच से भर जाते हैं।
पर्यटकों के ठहरने की है उचित व्यवस्था
दुधवा नैशनल पार्क मे गेस्ट हाउस और थारू हट 14 हैं, इसके अलावा सठियाना में
4 और डोमेट्री में 20 जगह रूकने की व्यवस्था है। प्रत्येक हट में 04 लोगों की रुकने
की व्यवस्था होती है जिसकी इंट्री फीस 100 व हाथी का किराया 600 है। इसके अलावा पर्यटक
ऑनलाइन बुकिंग करा सकते हैं।
नया सवेरा नई खबर के लिए एस0डी0 त्रिपाठी / शकील अहमद की विशेष रिपोर्ट
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