लखीमपुर-खीरी।
विश्वविख्यात दुधवा नेशनल पार्क के ग्रीष्मकालीन पर्यटन सत्र का रविवार की शाम
विधिवत ढंग से समापन कर दिया गया। शाम साढ़े सात बजे यहां मौजूद पर्यटकों के जाते
ही दुधवा के उपनिदेशक ने मुख्य द्वार पर ताला जड़ दिया, जिसे अब 15 नवंबर को मानसून
सत्र में खोला जाएगा।
इस मौके
पर पर्यटन परिसर में स्थित सभागार में एक बैठक का भी आयोजन किया गया। जिसमें इस
पूरे सत्र की गतिविधियों पर चर्चा करते हुए मौजूद लोगों से सुझाव मांगे गए। इस
दौरान पर्यटकों ने भी सुविधा में इजाफा करने हेतु अपने सुझाव रखे। जिन पर ध्यान
देने की बात डीडी ने की। साल के सघन वनों, पांच दुर्लभ प्रजातियों के हिरन, बाघ,
एक सींघ वाले गैंडे के साथ साथ 450 प्रजातियों को अपने में समेटे दुधवा नेशनल
पार्क में इस बार पर्यटकों का हुजूम उमड़ा। पहले ही दिन से देशी-विदेशी पर्यटकों का
यहां आना-जाना शुरू हो गया था।
इस बीच दुधवा में सुविधाओं का इजाफा करते हुए कई
निर्माण कार्य भी हुए, जिनकी पर्यटकों ने जमकर प्रशंसा की। साथ ही जंगली सफारी के
दौरान पर्यटकों को बाघ, तेंदुआ, हिरनों आदि को देखने का भी मौका मिला। समय बीता और
वह वक्त भी आ गया जब दुधवा के पर्यटन सत्र को समाप्त किया जाना था। रविवार की देर
शाम दुधवा में पार्क प्रशासन ने अंतिम मौजूद पर्यटकों को पर्यटन केंद्र से विदाई
दी।
तत्पश्चात
दुधवा के उपनिदेशक वीके सिंह ने मुख्य द्वार पर ताला जड़ कर पर्यटन सत्र की समाप्ति
की घोषणा कर दी। यहां आयोजित मीटंग में श्री सिंह ने मौजूद लोगों ने सुझाव मांगे
साथ ही आगामी सत्र में दुधवा में उपलब्ध सुविधाएं के बारे में भी विस्तार से
जानकारी दी। इस मौके पर पूर्व सपा विधायक डा आरए उस्मानी, एडवोकेट ऐनुफ बेग, एसडीओ
बेलरायां आनंद कुमार श्रीवास्तव, श्रीमति वीके सिंह, क्षेत्रीय वनाधिकारी, पत्रकार
व पार्क कर्मी उपस्थित थे।
नहीं
शर्माए टाइगर, पर्यटकों ने किया रोमांच का अनुभव
डा. सिंह
ने बताया कि इस बार जंगली सफारी के बाद पर्यटकों के गु्रप से बातचीत में इस बात का
पता चला कि उन्हें टाइगर स्वच्छंद विचरण करते हुए मिला। 15 नवंबर को पार्क खुलने
पर व आज बंद होने पर भी इसी तरह की रिपोर्ट आई हैं। ऐसे में कहना गलत न होगा कि
दुधवा के टाइगर भी अब पर्यटकों के इस्तकबाल के लिए खुलकर सामने आ गए हैं, जोकि न
सिर्फ पर्यटकों के लिए अच्छा है कि बल्कि दुधवा के लिए भी यह सुखद घटना है।
18 जून को
होगा पुरस्कारों का वितरण
बैठक के
दौरान डीडी ने बताया कि 18 जून को सभी चालकों, गाइडों व महावतों की बैठक बुलाई गई
है। इसमें उनकी विजटर्स बुक देखी जाएगी। अच्छी इंट्री पाने वाले कर्मचारियों को
पुरस्कृत किया जाएगा।
पर्यटकों
ने की सुविधाओं में इजाफे की मांग
बैठक के
दौरान पर्यटकों ने अपने सुझाव डीडी के सामने पेश किए। एक महिला पर्यटक ने मानव एवं
वन्य जीव संघर्ष पर कहा कि पार्क अधिकारियों के साथ ही समाज के जिम्मेदार लोगों का
यह दायित्व है वन तथा वन्य जीवों के हित में इस संघर्ष को कम किया जाए। इस पर सभी
ने अपनी सहमति प्रदान की।
मीडिया की
जमकर तारीफ
डीडी श्री
सिंह ने दुधवा के विकास में विशेष सहयोग के लिए मीडिया की भी जमकर तारीफ की।
उन्होंने अपेक्षा की कि भविष्य में भी पार्क हित में मीडिया का सहयोग मिलता रहेगा।
वहीं पत्रकारों ने रिसेप्शन पर व्यवस्था पारदर्शी न होने का मुद्दा उठाया। जिस पर
उपनिदेशक ने कहा रिसेप्शन की उन्हें भी इसका संज्ञान है और इसीलिए रिसेप्शन की
पूरी व्यवस्था बदली जा रही है।
पत्रकारों
ने यह मुद्दा भी उठाया कि अक्सर जिन पर्यटकों का पूर्व में आरक्षण होता है, मौके
पर कोई वीआईपी नेता, मंत्री या प्रशासनिक अधिकारी आ जाने पर उसका आरक्षण निरस्त कर
दिया जाता है। जिससे पर्यटकों को भारी कठिनाई झेलनी पड़ती है।
इस पर
डिप्टी डायरेक्टर ने कहा कि उन्होंने इस समस्या को भी महसूस किया है, कोशिश रहेगी
कि आगामी पर्यटन सत्र में पूरी व्यवस्था आनलाइन कर दी जाए ताकि किसी का भी आरक्षण
निरस्त होने की नौबत न आने पाए।
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